9 मई को उड़ीशा में नवीन पटनायक व 11 को मुंबई में उद्धव-शरद से मिलेंगे नीतीश, समझिए मायने

    बिहार के सीएम नीतीश कुमार कांग्रेस युक्त विपक्ष बनाना चाहते हैं. इसी सिलसिले में उन्होंने सबसे पहले दिल्ली जाकर कांग्रेस पार्टी के नेताओं से मुलाकात की. इस बैठक के बाद नीतीश कुमार ने कहा था कि ऐतिहासिक फैसला लिया गया है.

    बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार आगामी लोकसभा चुनाव के मद्देनजर देशभर के विपक्षी नेताओं को एकजुट करने में लगे हुए हैं. कुछ दिनों पहले उन्होंने बंगाल की सीएम ममता बनर्जी और सपा प्रमुख अखिलेश यादव से मुलाकात की थी. उससे पहले नीतीश कुमार कांग्रेस पार्टी के अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे, राहुल गांधी, आप संयोजक अरविंद केजरीवाल और लेफ्ट पार्टी के सीताराम येचुरी से मिलने दिल्ली गए थे. कुल मिलाकर बिहार के सीएम नीतीश कुमार ने देशभर में विपक्ष को एकजुट करने की जिम्मेदारी ली है. हालांकि इन तमाम मुलाकातों के दौरान सीएम नीतीश यही कहते रहे कि उनकी कोई निजी इच्छा नहीं है.

    11 मई को मुंबई जाएंगे CM नीतीश 

    एनसीपी प्रमुख शरद पवार ने सोमवार को जानकारी दी कि बिहार के सीएम नीतीश कुमार 11 मई को मुंबई आएंगे. मुंबई में पत्रकारों से बात करते हुए शरद पवार ने कहा कि देश को मौजूदा बीजेपी के नेतृत्व वाली केंद्र सरकार के विकल्प की जरूरत है. इसी सिलसिले में 11 मई को मुंबई में बिहार के सीएम के साथ बैठक होगी.

    सभी को मिलकर काम करने की जरूरत- शरद पवार

    पत्रकारों से बात करते हुए शरद पवार ने कहा कि उनका मानना है कि देश में एक विकल्प की जरूरत है, जो लोग योगदान देना चाहते हैं उन्हें आगे आना चाहिए. उन्होंने कहा कि सभी को मिलकर काम करने की जरूरत है।

    सीएम नीतीश 9 मई को ओडिशा जाएंगे

    इससे पहले मंगलवार नौ मई को मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ओडिशा के दौरे पर रहेंगे. वहां नीतीश कुमार ओडिशा के सीएम नवीन पटनायक से मुलाकात करेंगे. यह बैठक उनके आवास पर होगी. यह मुलाकात राजनीतिक दृष्टि से भी काफी अहम मानी जा रही है, क्योंकि नवीन पटनायक की पार्टी का ओडिशा में काफी प्रभाव है. नवीन पटनायक के समर्थन से विपक्षी गठबंधन को मजबूती मिलेगी.

    2024 के चुनाव के लिए बड़ी तैयारी कर रहे हैं नीतीश कुमार

    बिहार के सीएम नीतीश कुमार कांग्रेस युक्त विपक्ष बनाना चाहते हैं. इसी सिलसिले में उन्होंने सबसे पहले दिल्ली जाकर कांग्रेस पार्टी के नेताओं से मुलाकात की. इस बैठक के बाद नीतीश कुमार ने कहा था कि ऐतिहासिक फैसला लिया गया है. इसके बाद वह लगातार विपक्षी नेताओं से मिल रहे हैं। हालांकि अभी तक यह साफ नहीं हो पाया है कि कौन सा ऐतिहासिक फैसला लिया गया है। लेकिन इतना तय है कि नीतीश कुमार 2024 के चुनाव के लिए बड़ी रणनीति तैयार करने में जुटे हैं.