Kuno National Park में दो और शावकों ने तोड़ा दम, अब बचे 18 चीते, जानिए वजह
कूनो नेशनल पार्क से एक और बुरी खबर आ रही है. गुरुवार को चीते के दो और शावकों की मौत हो गई. इससे पहले मंगलवार को एक चीते के शावक की मौत हो गई थी.

Kuno National Park: कूनो नेशनल पार्क से एक और बुरी खबर आ रही है. गुरुवार को चीते के दो और शावकों की मौत हो गई. इससे पहले मंगलवार को एक चीते के शावक की मौत हो गई थी. बता दें कि पिछले दो माह में अब तक छह चीतों की मौत हो चुकी है, जानकारी के अनुसार,  कूनो में मादा चीता ज्वाला ने 27 मार्च को चार शावकों को जन्म दिया था.

बता दें कि 8 चीतों को नामीबिया से कूनो नेशनल पार्क लाया गया था. इनको  17 सितंबर को उनके जन्मदिन पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने उन्हें बाड़े में छोड़ा. इसके बाद 18 फरवरी को दक्षिण अफ्रीका से 12 और तेंदुए कूनो लाए गए. जिनमें से फिलहाल  कूनो नेशनल पार्क में अब केवल 18 चीते बचे हैं.

1  शावक की हालत और गंभीर

अधिकारी द्वारा बताया गया है कि 1 शावक की हालत अभी गंभीर बनी हुई है और उसे इलाज के लिए पालपुर अस्पताल में रखा गया है. यहां उनका लगातार इलाज चल रहा है. इलाज के लिए चीता विशेषज्ञों और नामीबिया और दक्षिण अफ्रीका के डॉक्टरों से भी सलाह ली जा रही है. वहीं मादा चीता स्वस्थ है और उसे भी निगरानी में रखा गया है.

कम वजन और डिहाइड्रेशन के कारण हुई मौत

अधिकारी कहा कि सभी चीता शावक कम वजन के और अत्यधिक निर्जलित पाए गए। मादा चीता ज्वाला पहली बार मां बनी हैं. चीता शावकों की उम्र लगभग 8 सप्ताह होती है और इस अवस्था में चीता शावक सामान्यत: जिज्ञासु होते हैं और मां के साथ चलते हैं. करीब 8 से 10 दिन पहले ही चीता शावक मां के साथ विचरण करने लगा था. चीता विशेषज्ञों के अनुसार सामान्य तौर पर अफ्रीका में चीता के शावकों के जीवित रहने की दर बहुत कम है. नियमानुसार शावकों के पोस्टमार्टम की कार्रवाई की जा रही है.

 

 

 

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